धोखा

धोखा....

मुझे दुसरो ने नही अपनो ने  धोखा दिया ..
हकीकत ने तो दिया ही सपनो ने भी धोखा दिया...
सोचा था कुछ और पाया कुछ और हूँ ....
मुझे मेरी अपनी उम्मीदों ने ही धोखा दिया...

कुछ धोखेबाज मुझसे अंजान थे...
कुछ तो ऐसे थे जो मेरे जान थे ...
दुसरो ने तो मुझे बता कर धोखा दिया...
पर दुख इस बात का है कि अपनो ने मुह छुपा कर धोखा दिया...

मुझे इन खूबसूरत दिशाओं ने धोखा दिया ...
वृक्ष की डालियों और लताओं ने धोखा दिया..
मना की ये तो बिचारे बेजान है ...
पर मुझे मेरी जीने की कुछ वजहों ने है धोखा दिया...

मुझे दिन से रात तक हवाओं ने धोखा दिया...
कभी तो किसी की दुआओं ने धोखा दिया...
हर एक कदमो में ठोकर खाया हूँ मै....
ठोकर मारने वालो ने नही उठाने वालों ने है धोखा दिया...

मुझे मेरी इश्क की दस्ताओं ने ही धोखा दिया ...
गुनाहों ने तो दिया ही , सफलता की वजाहों ने भी धोखा दिया...
जीवन मे सब कुछ कारण से ही प्राप्त हुआ,
पर पता नही लोगो ने किन वजहों से धोखा दिया???

आखिर थक कर देने चला था धोखा खुद के जीवन को मै
पर मुझे जाते -जाते उस कोशिश ने भी धोखा दिया...
#आरव शुक्ला
9039799902


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